रूस:– यह मिसाईल सिस्टम जो एस–400 मिसाईल सिस्टम का एडवांस वर्जन है, इस मिसाईल सिस्टम में सतह से हवा में मार करने वाला मोबाइल मिसाईल सिस्टम है जिसे बनाने में 2.5 बिलियन डॉलर का खर्च आया है, यह एक सतह से हवा में मार करने वाली रूसी मिसाईल है जिसे आलमाज एंटी एयर डिफेंस कंसर्न द्वारा बनाया गया है और इसको एस– 500 के नाम से जाना जाता है जिसे हम Russian ब्रह्मास्त्र भी कह सकते है यह रूस के 15 वी वायु सेना के साथ प्रवेश किया एस –500 मिसाईल सिस्टम हर प्रकार के हाइपरसोनिक हतियार प्रडाली को रोकने में सक्षम है।
रूस का नया एयरडिफेंस सिस्टम S–500 Trayamfetar
Russian ब्रह्मास्त्र:– एस–500 जिसे ट्रायमफेटर – एम के नाम से भी जाना जाता है यह एक एंटीब्लास्टिक मिसाईल है जो हर प्रकार के मिसाईल को रोकने में सक्षम है जो सतह से हवा में मिसाईल को मार कर गिरा सकता है।
एस –500 का प्रशिक्षण
प्रशिक्षण :एस–500 जिसे 55आर6एम "ट्रायमफेटर – एम" के नाम से भी जाना जाता है जिसे मई 2018 में रूस ने सतह से हवा में मार करने वाली अब तक की सबसे लंबी दूरी की मिसाईल का प्रशिक्षण किया रिपोर्ट की माने तो एस –500 482 किमी (300 मिल) दूर एक लक्ष्य को मारने में सक्षम है जिसमे पिछले रिकॉर्ड को तोड़ 80 किमी आगे है 4 जून 2019 को रूस के रक्षामंत्रालय ने एक वीडियो पोस्ट किया जिसमे सतह से हवा में मार करने वाली मिसाईल के रूप में एक नया एंटीब्लेस्टिक मिसाईल का सफल प्रशिक्षण दिखाया लेकिन जिस वायु रक्षा प्रणाली का सफल परीक्षण दिखाया उसका प्रकृति उल्लेख नही किया गया था माना जाता है की यह लंबी दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली एस –500 का प्रशिक्षण था जुलाई 2021 में रूसी रक्षामंत्रालय ने एस –500 का फायर प्रशिक्षण का लाइव फोटो जारी किया|
एस –500 मारक क्षमता
रूस:–इस मिसाईल को आसानी से कही भी तैनात किया जा सकता है मिसाईल का टारगेट 600 किमी है यह 800 किमी दूर से अपने टारगेट को पहचान सकता है यह मिसाईल एक साथ 10 टारगेट को भी मार सकता है जिसमे वह अलग अलग प्रकार के टारगेट जैसे की ब्लेस्टिक मिसाईल हाइपरसोनिक विमान से छोड़ी गई मिसाईल, मानव रहित विमान आदि सामिल है।
रशिया ने किस देश के साथ इसका व्यापार किया है ।
एस– 500 :– रूस के उप प्रधानमंत्री यूरी बोरिसोव ने कहा की भारत एक संभावित और पहला एस –500 का ग्राहक हो सकता है जिससे भारत की सुरक्षा और मजबूत हो जायेगी रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे संघर्ष के मद्देनजर यह घोषणा महत्वपूर्ण है
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